Ramesh Bidhuri Controversy: भारतीय जनता पार्टी (BJP) के सांसद रमेश बिधूड़ी ने लोकसभा के अंदर बीएसपी नेता दानिश अली पर आपत्तिजनक टिप्पणी की, जिसके बाद बवाल खड़ा हो गया. इस मुद्दे को लेकर विपक्षी पार्टियों ने बीजेपी पर जमकर निशाना साधा. 21 सितंबर को संसद के विशेष सत्र के चौथे दिन दक्षिण दिल्ली के सांसद रमेश बिधूड़ी ने दानिश अली पर 1 मिनट में 11 बार अपशब्द कहे. इससे पहले उन्होंने 107 सेकंड तक चंद्रयान-3 पर बोला था. लोकसभा में चंद्रयान-3 की सफलता पर बोलते हुए बीजेपी सांसद ने बसपा सांसद के लिए असंसदीय भाषा का इस्तेमाल किया.
संसद के अंदर ऐसी भाषा के लिए क्या है नियम?
बीजेपी सांसद की आपत्तिजनक टिप्पणी के बाद विपक्षी पार्टियों ने जमकर विरोध किया. जिसके बाद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने खेद भी जताया था. क्या आपको पता है संसद के अंदर असंसदीय भाषा का इस्तेमाल करने पर क्या कानून है? संविधान के आर्टिकल 105 (2) के तहत संसद में कही गई किसी बात के लिए कोई सांसद किसी कोर्ट के प्रति उत्तरदायी नहीं होता है.
इसका मतबल यह है कि सदन में कही गई किसी भी बात को कोर्ट में चैलेंज नहीं किया जा सकता है. एक सांसद सदन में कुछ भी कहता है वो लोकसभा में प्रोसिजर एंड कंडक्ट ऑफ बिजनेस के रूल 380 के तहत स्पीकर के कंट्रोल में होता है. इसका मतलब यह है कि अगर कोई भी सांसद संसद भवन के अंदर असंसदीय भाषा का इस्तेमाल करता है तो उस पर स्पीकर को ही एक्शन लेने का अधिकार है.
विपक्षी पार्टियों ने लोकसभा स्पीकर से की शिकायत
मौजूदा मामले में बीएसपी सांसद दानिश अली के अलावा कांग्रेस, डीएमके और टीएमसी के नेताओं ने स्पीकर से शिकायत की है. लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने इस मामले में बीजेपी सांसद को चेतावनी दी है और उनके बयान को सदन की कार्यवाही के हिस्से से हटा दिया है.
बता दें कि 22 सितंबर की शाम को कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने बीएसपी सांसद से मुलाकात की थी और कहा था, “नफरत के बाजार में मोहब्बत की दुकान.” वहीं इस मामले में कई विपक्षी नेताओं ने बीजेपी से सांसद रमेश बिधूड़ी पर कार्रवाई करने की मांग की है.
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